प्राकृतिक रंग व गुलाल से होली खेलने की अपील
मुंगराबादशाहपुर। क्षेत्र में इस बार होली को लेकर लोगों में काफी कुछ बदलाव देखने को मिल सकता है। पारंपरिक तरीके से होली मनाने की अपील की गई। अदिति गुप्ता ने कहा कि आजकल भोजपुरी कहा कि अश्लील होली गीत धड़ल्ले से बजाए जा रहे हैं। इसके साथ ही डीजे पर लोग पारंपरिक तरीकों को छोड़कर केवल नशा करने को ही त्योहार समझ रहे हैं। जो ना सिर्फ हानिकारक है बल्कि हमारी संस्कृति के लिए भी काफी नुकसान देह है।
जया उमरवैश्य ने कहा कि होली पर्व आपसी भाईचारा एवं प्रेम सौहार्द का पर्व इसे हम सभी को एकजुट होकर मनाना चाहिए। केमिकल रंगों का उपयोग नहीं करना चाहिए। हो सके हर्बल रंग का उपयोग करें।
रिया गुप्ता ने कहा कि इस वर्ष 25 मार्च को पड़ने वाली होली को सभी लोग पारंपरिक तरीके से ढोल मजीरे के साथ होली मनाएं और कीचड़ आदि का प्रयोग न करें।
सौम्या गुप्ता ने कहा कि पारंपरिक तरीके से ढोल मजीरे के साथ होली का आनंद उठाएं और होली प्रेम और सौहार्द का पर्व है इसे रासायनिक रंगो का प्रयोग कर खराब न करें । इससे जहां सभी लोग एक दूसरे को मिल सकेंगे वहीं अश्लील होली गीतों से भी छुटकारा मिलेगा साथ ही आने वाली पीढ़ी अपने इस संस्कृति से रूबरू हो सकेगी।
अदित्य गुप्ता ने कहा कि अधिकांश लोगों ने पारंपरिक तरीके से होली मनाने को लेकर अपना समर्थन जताया और कहा कि पहले हम सब प्राकृतिक रंगों और अबीर गुलाल लगाकर होली मनाते थे। साथ ही मादक पदार्थ का उपयोग न करें।
अमल गुप्ता ने कहा कि होली के दिन सभी लोग सुबह घर घर आकर टोली बनाकर लोगों से मुलाकात करते हुए होली की शुभकामनाएं देते हैं जो अच्छी बात है। होली पर हमें रासायनिक रंगो के साथ बच्चों पर ध्यान देना चाहिए और उन्हें होली प्रेम का पर्व है यह बताना चाहिए और अबीर गुलाल के साथ होली का जो आनंद आता है वो बताना चाहिए। इस दौरान टोली के सदस्य ढोल मजीरा के साथ पारंपरिक होली गीत गाएंगे।